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Rewa News: स्कूल शिक्षा विभाग की बड़ी लापरवाही; 215 जर्जर स्कूलों के मेंटीनेंस पर खर्च होने थे 6.50 करोड़, अब तक बिल्डिंग बेरंग

Rewa: शासन से रीवा को 6.50 करोड़ का बजट स्कूलों के मेंटीनेंस के नाम से मिला 215 हाई और हायर सेकेण्डरी स्कूलों का कायाकल्प किया जाना था जर्जर छन, फर्श, शौचालय और बिजली की केबिल आदि दुरुस्त करना है। कई महीने गुजर गए लेकिन बजट स्कूलों को मिला ही नहीं बिल्डिंग जर्जर और जीर्णशीर्ण पड़ी है। पुताई और साफ सफाई तक नहीं हुई। इस मर्तबा भी बजट लैप्स होने की कगार पर पहुंच गया है। मिली जानकारी के अनुसार लोक शिक्षण संचालनालय मोल से विभागीय परिसंपत्तियों के संधारण योजना के तहत बड़ी राशि जिला शिक्षा अधिकारियों को दी गई है।
रीवा की 215 स्कूलों को इसमें शामिल किया गया है। प्रत्येक विद्यालय को करीब 3 लाख रुपए की राशि शासन से जारी की गई। इन तीन लाख की राशि से स्कूल भवनों का मेंटीनेंस किया जाना था। रंगाई पुताई की जानी थी जर्जर छत और फर्श दुरुस्त किया जाना था। दरवाजा, खिड़की सुधरवानी है। डीपीआर तैयार कर शासन से स्वीकृति लेने और टेंडर लगाने तक की प्रक्रिया को 25 अक्टूबर तक पूरा करना था। सारी कागजी कार्रवाई कर स्कूलों में मेंटीनेंस 25 नवंबर से काम शुरू कराना था। हालांकि अब तक स्कूलों को इस फंड की भनक तक ही नहीं लगी है। यही वजह है कि स्कूलों की हालत जस की तस है। कहीं कोई काम ही नहीं हुआ। स्कूल शिक्षा विभाग की लापरवाही से शासन से मिला करोड़ों का बजट लैप्स होने की कगार पर पहुंच रहा है। पिछले वित्तीय वर्ष में भी इसी तरह की लापरवाही के कारण करीब 4 करोड़ रुपए लैप्स हो गए विद्यालयों को राशि ही आवंटित नहीं की गई थी।

स्कूल शिक्षा विभाग की बड़ी लापरवाही फिर पड़ने वाली है भारी
215 जर्जर स्कूलों के मेंटीनेंस पर खर्च होने थे 6.50 करोड़ अब तक बिल्डिंग बेरंग, पुताई और साफ सफाई नहीं हुई
अब तक स्कूलों के प्राचार्यों को भनक तक नहीं, प्रस्ताव तक नहीं हुआ तैयार, पिछले साल 4 करोड़ रुपए हो गए थे मेंटीनेंस के लैप्स
प्राचार्यों को मिला ही नहीं राशि, कइयों को तो पता ही नहीं चला कि बजट भी आया है

इन कार्यों की मरम्मत की जानी थी
विद्यालयों के लिए दिए गए फंड का उपयोग कई कार्यों के लिए किया जाना था। इसमें छत मरम्मत, सीलिंग मरम्मत शौचालय मरम्मत, रनिंग चाटर व्यवस्था, फ्लोरिंग, ग्रीन बोर्ड यदि दीवार पर है तो मरम्मत, खिड़की दरवाजे, बिजली मरम्मत लैंडस्केपिंग, बाउण्ड्रीवाल की मरम्मत का कार्य क्रिया जाएगा। इसके अलावा सभी भवनों में छत की मरम्मत और भवन के रंग रोगन का कार्य कराया जाना अनिवार्य था। हालांकि अब तक कुछ नहीं हुआ।

मरम्मत कार्य की समय सीमा भी तय थी
शासन ने आदेश जारी कर मरम्मत के लिए डेड लाइन भी तय कर दी गई थी। विशिष्ट मरम्मत के तहत चयनित विद्यालयों में मरम्मत के लिए डीपीआर सीएम राइज योजना के तहत चयनित वास्तुविदों के द्वारा बनाया जाना था। जिला शिक्षा अधिकारियों को वास्तुविदों से चर्चा कर डीपीआर 30 सितंबर 2022 तक तैयार करने के निर्देश थे। लोक शिक्षण को 5 अक्टूबर तक डीपीआर उपलब्ध कराया जाना था। तकनीकी स्वीकृति 15 अक्टूबर तक जारी होनी थी। निविदा के लिए 25 अक्टूबर और कार्यादेश 15 नवंबर 2022 तय था। कार्य पूरा करने की डेड लाइन 10 मार्च 2023 है। सामान्य मरम्मत का कार्य विद्यालय स्तर पर भवन प्रभारी द्वारा भवन पर्यवेक्षक समिति के सहयोग से किया जाना था। यह सब कागजों में ही रह गया। हकीकत में कुछ काम नहीं हुए।

इन विद्यालयों को आवंटित की गई है राशि
लोक शिक्षण संचालनालय से रीवा के करीब 215 हाई और हायर सेकेण्डरी स्कूलों को मेंटीनेंस का फंड जारी किया गया है। इसमें हायर सेकेण्डरी स्कूल बदरांव, ब्वायज स्कूल गोविंदगढ़ हाई स्कूल अमिली हार सेकेण्डरी स्कूल डिहिया, हदी शंकर, हाई स्कूल मढ़वा गर्ल्स स्कूल पाण्डेन टोला, एसके स्कूल रीवा, सिलपरा स्कूल, मटलो हाई स्कूल, हायर सेकेण्डरी स्कूल टीकर, हुआ परिहारिज टोला, महसाव लक्ष्मणपुर हायर सेकेण्डरी स्कूल खजुहा, गर्ल्स स्कूल गोविंदगढ़, गर्ल्स स्कूल योधर, निपनिया, शिवपुरवा, तमरा, अमिरती रहट, बम्हौरी, का सुमेदा, पंपावरा, बहुरी बांध हाई स्कूल, रूपौली, समान. खोर कोठी स्कूल, चोरहटा हाई स्कूल गवर्नमेंट हायर सेकेण्डरी स्कूल नंबर 1 शाउमावि क्रमांक 2, भोलगढ़, खेरा चोरहटा हाई स्कूल, मार्तण्ड स्कूल 2. 3. दुआरी हाटार सेकेण्डरी हायर सेकेण्डरी पुरवा, लोही, सुरसा, तमरा देश, बरसता, गर्ल्स स्कूल गुढ़ पार सेकेण्डरी उमरी, मनिकवार, रौसर, पहाड़िया 365, अजन गंगहरा ब्यायज नवागांव, गल्स स्कूल रायपुर कर्चुलियान, हायर सेकेण्डरी दुअरी, बदवार हाई स्कूल दुअरा ब्यायज स्कूल गुढ़ ग स्कूल देवतालाब सहित अन्य शामिल हैं।

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